पुतिन की पलटन अपने प्रहार के चलते पहले से ही यूक्रेन के शहरों को खाक कर रही है…बर्बाद कर रही है…मिट्टी में मिला रही है जो अब और विध्वंसक होने वाला है क्योंकि पुतिन का नया प्लान यूक्रेन में जलजला लाने वाला है…जिसके जिम्मेदार होंगे सिर्फ और सिर्फ यूरोपीय देश…जिसकी तस्दीक नाटो के सदस्य देश Italy ने की है…-ukraine and Italy war news
यूक्रेन में सेना की तैनाती का Italy ने किया विरोध…कहा अगर ऐसा हुआ तो महाविनाश तय
पुतिन की पलटन अपने प्रहार के चलते पहले से ही यूक्रेन के शहरों को खाक कर रही है…बर्बाद कर रही है…मिट्टी में मिला रही है जो अब और विध्वंसक होने वाला है क्योंकि पुतिन का नया प्लान यूक्रेन में जलजला लाने वाला है…जिसके जिम्मेदार होंगे सिर्फ और सिर्फ यूरोपीय देश…जिसकी तस्दीक नाटो के सदस्य देश Italy ने की है…-ukraine and Italy war news
रूस-यूक्रेन जंग को लेकर Italy ने एक ऐसा बयान दिया है जिसमें विश्वयुद्ध की आहट सुनाई दे रही है…विनाश की तस्वीर दिखाई दे रही है…Italy के विदेश मंत्री एंटोनियो तजानी ने कहा है कि यूक्रेन के युद्धक्षेत्र में अमेरिका के नेतृत्व वाले नाटो गुट के सैनिकों को तैनात करने से एक वैश्विक संघर्ष की शुरुआत हो सकती है…जो प्रभावी रूप से तीसरा विश्व युद्ध हो सकता है…जो पूरी दुनिया के लिए विनाशकारी होगा…जिससे हमें बचना होगा…
रूस के साथ जंग में कमजोर होता यूक्रेन यूरोपीय देशों की चिंता का कारण है जिसके चलते फ्रांस जैसे देश यूक्रेन में नाटो की सेनाएं तैनात करने की वकालत कर रहे हैं जिसपर Italy भड़का हुआ है…ऐसा ना करने की चेतावनी दे रहा है…विश्वयुद्ध की तस्वीर दिखा रहा है…अगर नाटो देशों की सेनाएं यूक्रेन में तैनात होती हैं तो क्या Italy भी अपनी सेना भेजेगा…इसपर Italy के विदेश मंत्री एंटोनियो तजानी ने इस संभावना से इनकार किया है कि उनके देश की सेनाएं किसी तरह भी कीव की लड़ाई का समर्थन करने के लिए तैनात होंगी…
नाटो सैनिकों की ऐसी तैनाती की संभावना के बारे में पूछे जाने पर ताजानी ने कहा कि मुझे लगता है कि नाटो को यूक्रेन में प्रवेश नहीं करना चाहिए…यह एक गलती होगी. हमें यूक्रेन को अपनी रक्षा करने में मदद करने की जरूरत है, लेकिन रूस के खिलाफ युद्ध छेड़ने के लिए जेलेंस्की के देश में प्रवेश करने का मतलब तीसरे विश्व युद्ध को जोखिम में डालना है…यानि साफ है कि Italy किसी भी हाल में अपनी सेनाओं को यूक्रेन का समर्थन करने के लिए जंग के मैदान में नहीं भेजेगा…इसके पीछे उसने बड़ा कारण भी दिया है…
रूस-यूक्रेन जंग के बीच नाटो देश फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने रूस को जीतने से रोकने के लिए यूक्रेन में सेना तैनात करने की वकालत की थी…जिसका भले ही Italy विरोध कर रहा हो लेकिन हाल ही में नाटो का सदस्य बना फिनलैंड फ्रांस का खुलकर समर्थन कर रहा है…जिससे इस जंग में नाटो देशों की एंट्री के आसार बढ़ते हुए नज़र आ रहे हैं…जो जंग की इस ज्वाला को और भड़काने का काम करेगा ना कि इससे युद्ध को रोका जा सकेगा…फिनलैंड के विदेश मंत्री एलिना वाल्टोनन के अनुसार मास्को के खिलाफ कीव के युद्ध प्रयासों का समर्थन करने के लिए सभी विकल्प मेज पर रहने चाहिए लेकिन इस स्तर पर फिनलैंड यूक्रेन में अपनी सेना भेजने या यहां तक कि ऐसी संभावना पर चर्चा करने के लिए तैयार नहीं है…यहां पर एक बात ये समझने वाली है कि फिनलैंड जैसा देश फ्रांस की ओर से यूक्रेन में सेना उतारने का समर्थन कर रहा है लेकिन अपना सेनाएं भेजने की किसी भी संभावना से इनकार कर रहा है…जो यूक्रेन के समर्थन में आए देशों में दरार को दर्शाता है…
क्या यूक्रेन में फ्रांस अपनी सेना उतारेगा?
फ्रांस के समर्थन में नाटो देशों का अगला कदम क्या होगा?