Shri Jagannath Temple, Puri: Special Security Battalion and Heritage Corridor Project | AIRR News
श्री जगन्नाथ मंदिर, पुरी: विशेष सुरक्षा बटालियन और विरासत गलियारा परियोजना | एआईआरआर समाचार
श्री जगन्नाथ मंदिर, पुरी में स्थापित एक प्राचीन और प्रसिद्ध हिंदू मंदिर है। इस मंदिर की सुरक्षा और व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए, ओडिशा सरकार ने इसके चारों ओर एक विशेष सुरक्षा बटालियन का गठन करने का फैसला किया है। तो चलिए, जानते है इस मंदिर के बारे में, उसकी महत्ता, उसकी सुरक्षा योजनाओं के बारे में, और उसके आसपास के क्षेत्र के विकास के बारे में।
श्री जगन्नाथ मंदिर, पुरी का एक प्राचीन और प्रसिद्ध हिंदू मंदिर है, जो जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा की पूजा का केंद्र है। यह मंदिर वैष्णव सम्प्रदाय के अनुयायियों के लिए विशेष महत्व रखता है, जिनके अनुसार यहाँ भगवान विष्णु का एक रूप विराजमान है। यह मंदिर रथ यात्रा, चंदन यात्रा, स्नान यात्रा और नबकलेबर जैसे विशाल त्योहारों के लिए भी प्रसिद्ध है, जिनमें हर साल लाखों श्रद्धालु भाग लेते हैं।
आपको बता दे कि हाल ही में इस मंदिर की सुरक्षा और व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए, ओडिशा सरकार ने इसके चारों ओर एक विशेष सुरक्षा बटालियन का गठन करने का फैसला किया है। इस बटालियन में लगभग 1190 कर्मचारी होंगे, जो पुरी के सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस के आदेश और नियंत्रण में काम करेंगे। इस बटालियन की मुख्य जिम्मेदारी मंदिर को फूलप्रूफ सुरक्षा प्रदान करना होगा, और वे भीड़ प्रबंधन, पर्यटक और भक्त सुविधा के लिए विशेष रूप से प्रशिक्षित होंगे, ताकि भक्तों को बिना किसी परेशानी और व्यवस्थित रूप से दर्शन करने का अवसर मिल सके।
इस बटालियन के फैसले का ऐलान ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने अपने कार्यालय से जारी एक बयान के माध्यम से किया है। उन्होंने बताया कि यह फैसला 5T अध्यक्ष और नवीन ओडिशा वीके पंडियान के द्वारा सभी हितधारकों के साथ चर्चा करने के बाद लिया गया है। 5T एक ओडिशा सरकार की पहल है, जिसका मतलब है ट्रांस्फॉर्मेशन, ट्रांसपेरेंसी, टीमवर्क, टेक्नोलॉजी और टाइम लिमिट। इसका उद्देश्य ओडिशा को एक विकसित, समृद्ध और आधुनिक राज्य बनाना है।
इस बटालियन के आदेश के साथ ही, श्री जगन्नाथ मंदिर के चारों ओर एक विशेष सुरक्षा बटालियन का गठन करने का फैसला इस मंदिर के लिए एक बड़ा कदम है, जो इसकी ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और धार्मिक महत्ता को दर्शाता है। इस मंदिर को भारत के चार धामों में से एक माना जाता है, जिनका दर्शन हर हिंदू को एक बार जीवन में करना चाहिए। इस मंदिर का निर्माण लगभग 12वीं शताब्दी में हुआ था, और इसका वास्तुकला और शिल्पकारी को ओडिशा की विरासत का एक अनमोल रत्न माना जाता है।
आपको बता दे कि इस मंदिर की सुरक्षा को बेहतर बनाने की जरूरत इसलिए भी है, क्योंकि इस मंदिर को कई बार आतंकवादी हमलों का निशाना बनाया गया है। 1999 में, एक आतंकवादी संगठन ने इस मंदिर के पास एक बम विस्फोट करवाया था, जिसमें 10 लोगों की मौत हो गई थी, और 15 लोग घायल हुए थे। 2006 में, एक और बम विस्फोट हुआ था, जिसमें कोई हताहत नहीं हुआ था, लेकिन भय और आतंक फैला था। इसके अलावा, इस मंदिर को अन्य धार्मिक समुदायों के द्वारा आक्रमण और लूट का भी सामना करना पड़ा है। इसलिए, इस मंदिर को एक विशेष सुरक्षा बटालियन की आवश्यकता है, जो इसे इन सभी खतरों से बचा सके।
इस बटालियन के साथ ही, Shri Jagannath Temple के आसपास का इलाका भी एक नई रूपरेखा पाने वाला है। ओडिशा सरकार ने इस मंदिर के चारों ओर एक विरासत कॉरिडोर प्रोजेक्ट, श्रीमंदिर परिक्रमा प्रकल्प, का शुभारंभ किया है, जिसका उद्देश्य इस मंदिर को एक वैश्विक पर्यटन स्थल बनाना है। इस प्रोजेक्ट के तहत, मंदिर के चारों ओर के अवैध और अनुचित ढांचों को हटाया जा रहा है, और उनकी जगह एक विशाल और सुंदर परिक्रमा पथ बनाया जा रहा है, जिसमें भक्तों को आराम, सुविधा और सुरक्षा की व्यवस्था होगी। इस परिक्रमा पथ पर भक्तों को मंदिर के इतिहास, संस्कृति और धर्म के बारे में जानकारी भी मिलेगी, जो उनके दर्शन को और भी अधिक अर्थपूर्ण बनाएगी।
इस प्रकार हम कह सकते है कि Shri Jagannath Temple के लिए विशेष सुरक्षा बटालियन के अनुमोदन और विरासत कॉरिडोर प्रोजेक्ट का शुभारंभ एक ऐतिहासिक और नवीन पहल है, जो इस मंदिर को एक विश्वस्तरीय पर्यटन और धार्मिक स्थल बनाने का लक्ष्य रखता है। इससे न केवल इस मंदिर की सुरक्षा और सुविधा में सुधार होगा, बल्कि इसकी वैभवशाली विरासत को भी संरक्षित और संवर्धित किया जाएगा। इससे ओडिशा के लोगों को गर्व और आत्मविश्वास की भावना होगी, और देश और दुनिया के लोगों को इस मंदिर के प्रति एक नई रुचि और सम्मान जगेगा।
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