BJP’s Resounding Victory in Chhattisgarh: Who Will be the Next Chief Minister?
Chhattisgarh में बीजेपी की प्रचंड जीत: कौन होगा अगला मुख्यमंत्री?
आखिर वो घडी आ ही गयी जब Chhattisgarh के विधानसभा चुनावो के नतीजे सामने ा गए। तमाम अटकलों के बाद भाजपा की राज्य में पुनः वापिसी हो गयी , और साथ ही अब सरगर्मिया तेज हो गयी है की अगला मुख्यमंत्री कौन बनेगा ?
तो , आज हम बात करेंगे छत्तीसगढ़ के हालिया विधानसभा चुनावों के नतीजों की और बीजेपी की धमाकेदार जीत की ।
आपको बता दे कि, बीजेपी ने 90 विधानसभा सीटों वाले राज्य कि 54 सीटों पर कब्जा किया और पिछली बार की तुलना में इस बार 15 सीटें ज्यादा जीती। इस बार बीजेपी ने अपनी वोट शेयर में भी बढ़ोतरी की और 43.5 प्रतिशत मत हासिल किए। इसके विपरीत, कांग्रेस ने 35 सीटें जीती और अपना वोट शेयर 40.6 प्रतिशत रखा।
बीजेपी की इस जीत के पीछे कई कारण हैं। पहला कारण है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी विकास योजनाओं की लोकप्रियता । दूसरा कारण है केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की रणनीति और उनका चुनाव प्रचार। तीसरा कारण है बीजेपी के नए चेहरों का चुनाव में उतारना और पार्टी के भीतर की अशांति को दूर करना। चौथा कारण है कांग्रेस की कमजोर नेतृत्व और उसकी असंगठित हालत।
बीजेपी की इस जीत के बाद अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि राज्य का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा? इस बारे में अभी तक पार्टी ने कोई फैसला नहीं किया है और इसे पार्टी के आलाकमान के हवाले कर दिया है। हालांकि, चुनाव में जीतने वाले बीजेपी के विधायकों के बीच कुछ नाम उभर कर सामने आ रहे हैं।
इनमें सबसे पहले नाम आता है ओपी चौधरी का, जिन्हें उनकी प्रचंड जीत के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने दिल्ली बुलाया था । ओपी चौधरी रायगढ़ विधानसभा से बीजेपी प्रत्याशी थे और उन्होंने चुनाव में जीत दर्ज की है। ओपी चौधरी पूर्व मुख्य न्यायाधीश के बेटे हैं और उनका राजनीतिक अनुभव भी काफी है। वे पहले Chhattisgarh के विधानसभा के अध्यक्ष भी रह चुके हैं। उनका नाम मुख्यमंत्री पद के लिए सबसे बड़ा दावेदार माना जा रहा है।
दूसरा नाम आता है रमन सिंह का, जो पूर्व मुख्यमंत्री हैं और इस बार राजनंदगांव से विधायक चुने गए हैं। रमन सिंह को बीजेपी के वरिष्ठ नेता और छत्तीसगढ़ के विकास का चेहरा माना जाता है। उन्होंने 2003 से 2018 तक राज्य में लगातार तीन बार सत्ता में रहे और कई योजनाओं का शुभारंभ किया। उनके पक्ष में यह बात भी है कि उनके साथ पार्टी के अन्य नेताओं का समर्थन भी है।
तीसरा नाम आता है धर्मलाल कौशिक का, जो बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष हैं और इस बार बिलासपुर से विधायक चुने गए हैं। धर्मलाल कौशिक को पार्टी के युवाधर्मलाल कौशिक को पार्टी के युवा और कुशल नेता माना जाता है। उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष के रूप में पार्टी को एकजुट और संगठित बनाया है। उनके पक्ष में बात भी है कि उनका नाम पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व के पास भी है।
चौथा नाम आता है भीमा मंडवी का, जो दंतेवाड़ा से विधायक चुने गए हैं। भीमा मंडवी एक आदिवासी नेता हैं और उन्होंने नक्सली प्रभावित क्षेत्र में बीजेपी को जीत दिलाई है। उनका नाम मुख्यमंत्री पद के लिए आदिवासी समुदाय के दबाव के कारण उभरा है।
इन चार नामों के अलावा भी कुछ अन्य नेताओं का नाम मुख्यमंत्री पद के लिए चर्चा में है। जैसे कि राजेश मूनत, भूपेंद्र सिंह, अजय चंद्राकर, ब्रिजमोहन अग्रवाल आदि। लेकिन इनमें से किसी का नाम भी पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को मंजूर नहीं है। इसलिए इनकी दावेदारी कमजोर है।
इस प्रकार, छत्तीसगढ़ में बीजेपी की इस धमाकेदार जीत के बाद अब सबकी नजर पार्टी के आलाकमान पर है, जो राज्य का अगला मुख्यमंत्री चुनने का फैसला करेगा। यह फैसला शायद जल्द ही हो जाए, जब बीजेपी के विधायक दल की बैठक होगी। इस बैठक में विधायकों का मत लिया जाएगा और उसके बाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की सलाह ली जाएगी। इसके बाद ही राज्य का अगला मुख्यमंत्री घोषित किया जाएगा।
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