कितनी सेफ है वो इमारत, जहां अमेरिका ने छिपाई है अपनी सारी दौलत
पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा गोल्ड अमेरिका के पास है और ये बात सभी जानते हैं…वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के मुताबिक अमेरिका का स्वर्ण भंडार 8 हजार मैट्रिक टन से ज्यादा है…लेकिन सवाल ये है कि इस सोने को अमेरिका रखता कहां है…
इतनी बड़ी दौलत को रखने के लिए सुपरपावर किस जगह का इस्तेमाल करता है या यूं कहें कि किस बिल्डिंग का…कितनी सुरक्षित है ये बिल्डिंग…इन्ही सब बातों को का जवाब लेकर आज हम आए हैं अपने इस वीडियो में…हम आपको बताएंगे सुपरपावर की सुपरसेफ इमारत के बारे में…
अमेरिका में केंटुकी में एक इमारत है…फोर्ट नॉक्स नाम की इस बिल्डिंग में सिक्योरिटी ऐसी तगड़ी है कि अमेरिकी राष्ट्रपति भी इसमें मुश्किल से ही जाते हैं…यही वो इमारत है जो अमेरिका की सबसे सुरक्षित इमारत है…आमतौर पर किसी देश के सुप्रीम लीडर का आवास या दफ्तर वहां की सबसे सुरक्षित इमारतों में गिना जाता है लेकिन दुनिया में एक बिल्डिंग ऐसी है जो इस श्रेणी में नहीं आती इसके बाद भी उसकी सुरक्षा बहुत पक्की है…इतनी कि उसे दुनिया की सबसे सुरक्षित इमारतों में रखा जाता है और यहीं अमेरिका ने छिपा रखा है अपना सोने का खजाना…अमेरिका के केंटुकी में बने फोर्ट नॉक्स में सरकारी सोने का बड़ा हिस्सा रखा हुआ है ऐसे में इसकी सिक्योरिटी भी उतनी ही टाइट है, इसके चारों ओर कई सेफ्टी लेयर्स हैं जिनके बारे में में कहा जाता है कि दुनिया का सबसे शातिर या पहुंचवाला इंसान भी इसमें सेंध नहीं लगा सकता
अब हम आपको बताने जा रहे हैं एक खास बात…फोर्ट नॉक्स वैसे कोई एक इमारत नहीं बल्कि केंटकी का मिलिट्री बेस है जो काफी लंबा-चौड़ा है…इस कैंपस के भीतर अलग-अलग बिल्डिंग्स हैं जिसमें आर्मी वाले और उनके परिवार रहते हैं…ये वे लोग हैं जिनपर अमेरिकी गोल्ड रिजर्व की सुरक्षा का जिम्मा है…यहीं एक इमारत के भीतर वो तिजोरी है जिसमें सोना रखा हुआ है…ये बिल्डिंग लगभग 16 हजार क्यूबिक फीट ग्रेनाइट और साढ़े 4 हजार यार्ड्स कंक्रीट से बनी हुई है…जिसमें हजारों टन स्टील का इस्तेमाल हुआ है जो इसे सुरक्षा के लिहाज से बहुत मजबूत बनाते हैं…
साल 1936 में अमेरिका में खजाने को सुरक्षित रखने के लिए और गोल्ड रिजर्व को स्टोर करने के लिए फोर्ट नॉक्स में एक भूमिगत तिजोरी का निर्माण शुरू किया गया…यह विशाल तिजोरी 1937 में बनकर तैयार हुई और तब से यह अमेरिकी धन और शक्ति का एक प्रतिष्ठित प्रतीक बन गई है…फोर्ट नॉक्स के बनने में तब साढ़े 6 लाख डॉलर से ज्यादा का खर्च आया था…फोर्ट नॉक्स का असल नाम यूनाइटेड स्टेट्स बुलियन डिपॉजिटरी है…स्टील फेंसिंग और तगड़ी सुरक्षा के चलते इसे फोर्ट नॉक्स कहा जाने लगा…अमेरिकी डिफेंस वेबसाइट के मुताबिक इसकी दीवारें ग्रेनाइट से बनी हुई और 4 फीट से ज्यादा मोटी हैं…माना ये भी जाता है कि इनपर न्यूक्लियर विस्फोट का भी असर नहीं होगा
सामने वाला दरवाजा लगभग 22 टन वजनी और ब्लास्ट-पूफ्र मटेरियल से बना हुआ है…जिसे आगे से पीछे की तरफ ले जाने के लिए आर्मी के ट्रेंड जवानों की जरूरत पड़ती है…फिजिकल सिक्योरिटी के अलावा यहां लगभग 30 हजार आर्म्ड गार्ड हैं, जो कोने-कोने में तैनात हैं…मॉडर्न इलेक्ट्रॉनिक सिक्योरिटी जैसे सेंसर, कैमरा और अलार्म इन्सटॉल्ड हैं…साथ ही मोशन डिटेक्टर लगे हुए हैं जो किसी भी गतिविधि को तुरंत पकड़ सकते हैं… कहा जाता है कि यहां जमीन के भीतर विस्फोटक पदार्थ रखे हुए हैं जो शरीर के तापमान से संचालित होते हैं…यानी अगर कोई घुसपैठ की कोशिश करे तो बिना चेतावनी पाए उसका काम खत्म हो जाएगा…
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