PM Narendra Modi ने मंत्रिपरिषद की बैठक में विकसित भारत 2047 के लिए एक विस्तृत दस्तावेज और पांच साल के लिए एक कार्ययोजना पर चर्चा की। इसमें अर्थव्यवस्था, सामाजिक कल्याण, आसानी से जीना, आसानी से व्यापार करना, बुनियादी ढांचा और अन्य क्षेत्रों के लक्ष्य शामिल हैं।-Developed India 2047-PM Narendra Modi
लेकिन क्या आप जानते हैं कि मोदी के अनुसार भारत के अगले पचास साल कैसे होंगे? क्या आप जानते हैं कि भारत के PM Narendra Modi ने अपनी मंत्रिमंडल के साथ विकसित भारत 2047 के लिए एक राष्ट्रीय दृष्टिकोण और कार्ययोजना तैयार की है? क्या आप जानते हैं कि इस दस्तावेज में कौन से क्षेत्रों और मुद्दों पर ध्यान दिया गया है? क्या आप जानते हैं कि इस दस्तावेज को बनाने के लिए कितनी तैयारी और परिश्रम किया गया है?-Developed India 2047-PM Narendra Modi
अगर आप इन सवालों के जवाब जानना चाहते हैं, तो आपको यह वीडियो जरूर देखना चाहिए। यह वीडियो आपको विकसित भारत 2047 के बारे में सब कुछ बताएगा, जो भारत के भविष्य का एक महत्वपूर्ण आधार है।
नमस्कार, आप देख रहे हैं AIRR न्यूज़।
आज हम बात करेंगे विकसित भारत 2047 के बारे में, जो PM Narendra Modi के नेतृत्व में मंत्रिपरिषद की बैठक में बनाया गया एक राष्ट्रीय दस्तावेज और कार्ययोजना है।
इस दस्तावेज और कार्ययोजना का उद्देश्य यह है कि भारत को 2047 तक एक विकसित, समृद्ध, समावेशी, स्वच्छ, स्वस्थ, सुरक्षित और सशक्त देश बनाया जाए।
इसके लिए, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में विभिन्न क्षेत्रों और मुद्दों के लिए लक्ष्य, उपाय, नीतियां, योजनाएं, परियोजनाएं और संसाधन निर्धारित किए गए हैं।
जैसे भारत को 2047 तक विश्व की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने के लिए, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में अर्थव्यवस्था को वृद्धि, नवाचार, निर्माण, निर्यात, निवेश, रोजगार, उद्यमिता, आत्मनिर्भरता और वैश्विक साझेदारी के माध्यम से मजबूत बनाने के लिए विभिन्न पहलों का उल्लेख किया गया है।
वही 2047 तक भारत को एक संस्कृतिक रूप से समृद्ध, विविध, गौरवशाली और आधुनिक देश बनाने के लिए, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में संस्कृति को संरक्षण, संवर्धन, प्रसार, अंतर्राष्ट्रीय सहयोग और नवाचार के माध्यम से प्रखर बनाने के लिए विभिन्न पहलों का उल्लेख किया गया है।
भारत को एक ऐसा देश बनाने के लिए, जहां हर नागरिक को अपनी जरूरतों, इच्छाओं और अधिकारों का पूरा उत्तरदायित्व लेने के साथ-साथ अपनी पूर्ण क्षमता का विकास करने का अवसर मिले, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में आसानी से जीने की सुविधा, सुरक्षा, स्वतंत्रता, समता, न्याय, शांति और भागीदारी के माध्यम से सुधारने के लिए विभिन्न पहलों का उल्लेख किया गया है।
इसके अलावा आसानी से व्यापार करना भी इसका एक लक्ष्य है जिसमे भारत को 2047 तक एक ऐसा देश बनाने के लिए, जहां हर व्यापारी, उद्यमी और निवेशक को अपना व्यापार शुरू, चलाने और बढ़ाने के लिए आसान, सस्ता, तेज और पारदर्शी तरीका मिले, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में आसानी से व्यापार करना को नियम, प्रक्रिया, टैक्स, लाइसेंस, अनुमति, रजिस्ट्रेशन, आवेदन, शिकायत, निरीक्षण, आधार, डिजिटलीकरण और अन्य मापदंडों के माध्यम से बेहतर बनाने के लिए विभिन्न पहलों का उल्लेख किया गया है।
बुनियादी ढांचे की बात करे तो भारत को 2047 तक एक ऐसा देश बनाने के लिए, जहां हर नागरिक को उच्च गुणवत्ता वाला, स्थायी, स्मार्ट, ग्रीन और रिसिलिएंट बुनियादी ढांचा मिले, जो उनकी जीवन शैली, आर्थिक गतिविधि, सामाजिक संबंध, पर्यावरण संरक्षण और राष्ट्रीय सुरक्षा को बेहतर बनाए, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में बुनियादी ढांचा को निर्माण, नवीकरण, विस्तार, जोड़ना, अनुकूलन, उपयोग, प्रबंधन, रखरखाव और निर्माण के माध्यम से उन्नत बनाने के लिए विभिन्न पहलों का उल्लेख किया गया है।
इन क्षेत्रों और मुद्दों के अलावा, इस दस्तावेज और कार्ययोजना में अन्य क्षेत्रों और मुद्दों का भी उल्लेख किया गया है, जैसे कि कृषि, उद्योग, सेवा, शिक्षा, स्वास्थ्य, ऊर्जा, पानी, वन, जलवायु परिवर्तन, विज्ञान और प्रौद्योगिकी, अंतरिक्ष, रक्षा, सुरक्षा, विदेश नीति, राजनीति, संविधान, नागरिकता, लोकतंत्र, न्याय, मीडिया, सांस्कृतिक विरासत, खेल, युवा, महिला, बाल, अल्पसंख्यक, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछड़ा वर्ग, ग्रामीण, शहरी, पूर्वोत्तर, जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, अंडमान और निकोबार, लक्षद्वीप और अन्य क्षेत्रों और समुदायों के लिए नए अवसर तलाशना।
इस दस्तावेज और कार्ययोजना को बनाने के लिए एक व्यापक और गहन प्रक्रिया का पालन किया गया है, जिसमें विभिन्न स्तरों और विभागों के साथ समन्वय, सहयोग, समीक्षा, प्रतिक्रिया, सुझाव, संशोधन, परीक्षण और मान्यता शामिल हैं।
इस प्रक्रिया में, विशेषज्ञों, वैज्ञानिकों, अधिकारियों, नेताओं, नागरिकों, सामाजिक संगठनों, व्यापार संघों, अकादमिक संस्थानों, मीडिया, अंतर्राष्ट्रीय संगठनों और अन्य हितधारकों द्वारा सक्रिय भाग लिया गया है।
इस प्रक्रिया के दौरान, वर्तमान की स्थिति, भविष्य की चुनौतियां, अवसर, लक्ष्य, उपाय, नीतियां, योजनाएं, परियोजनाएं और संसाधन का विश्लेषण, मूल्यांकन, अनुमान, अनुकूलन, अनुशासन, निर्णय, निर्देशन, अनुसरण और मूल्यांकन किया गया है।
इस प्रक्रिया का परिणाम यह दस्तावेज और कार्ययोजना है, जो भारत के विकास के लिए एक विस्तृत, व्यावहारिक, व्यवस्थित, समन्वित, लचीला, निरंतर, नवाचारी और जीवंत रूपरेखा और रणनीति प्रस्तुत करता है।
आपको बता दे कि इस दस्तावेज और कार्ययोजना का उद्देश्य यह भी है कि यह एक जनआंदोलन बनाए, जिसमें सभी भारतीयों को अपने देश के विकास में अपना योगदान देने, अपनी जिम्मेदारी निभाने और अपने अधिकारों का उपयोग करने के लिए प्रेरित और सशक्त किया जाए।
इस दस्तावेज और कार्ययोजना का अंतिम उद्देश्य यह है कि यह भारत के लिए एक नया स्वर्णिम युग लाए, जिसमें हर भारतीय को अपनी पूर्ण प्रतिभा का विकास करने, अपने सपनों को पूरा करने और अपने देश को विश्व का नेतृत्व करने का अवसर मिले।
आशा है कि आपको यह वीडियो पसंद आया होगा और आपको विकसित भारत 2047 के बारे में जानकारी और प्रेरणा मिली होगी।
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जय हिंद, जय भारत।