2024 Political Clash: Who is stronger between BJP and INDIA alliance? | Political Parties, Leaders, Issues and Challenges
2024 सियासी घमासान: BJP and INDIA alliance में कौन है मजबूत? | राजनीतिक दल, नेता, मुद्दे और चुनौतियाँ
2024 के लोकसभा चुनावों में, जहां BJP and INDIA alliance के बीच एक कड़ी टक्कर होने की पूरी संभावना है।
एक तरफ बीजेपी ने खुद की वापसी और दूसरी तरफ INDIA alliance बीजेपी को रोकने में खुद को सक्षम बता रहा है।
हम आपको बताएंगे कि कौन से राजनीतिक दल, नेता और मुद्दे इस चुनावी जंग में मायने रखते हैं। हम आपको बताएंगे कि कैसे बॉलीवुड अभिनेता नाना पाटेकर के ताजा बयान ने राजनीतिक चिंगारी लगा दी है।
2024 के लोकसभा चुनावों में देश की राजनीति में एक नया मोड़ आया है। इस बार, भारतीय जनता पार्टी को अपनी तीसरी बार की जीत के लिए एक मजबूत विपक्षी गठबंधन का सामना करना होगा। इस गठबंधन का नाम है इंडिया, जिसमें 28 राजनीतिक दल शामिल हैं।
इस इंडिया गठबंधन का उद्देश्य है कि वह भाजपा की बढ़ती हुई ताकत को रोके, और देश में लोकतंत्र, सामाजिक न्याय और विकास की बात करे। इस गठबंधन में कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, राष्ट्रीय जनता दल, तृणमूल कांग्रेस, डीएमके, यूपीएसआरसीपी और अन्य दल शामिल हैं।
वैसे इस गठबंधन के नेतृत्व का सवाल अभी भी अनसुलझा ही है, लेकिन फिर भी इसके कई वरिष्ठ नेता ऐसे हैं, जिनका अपना अपना क्षेत्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर प्रभाव है। इनमें से कुछ नाम हैं- राहुल गांधी, अरविंद केजरीवाल, मायावती, नीतीश कुमार, ममता बनर्जी, एम के स्टालिन, शरद पवार और अखिलेश यादव।
आपको बता दे की इंडिया गठबंधन का दावा है कि वह भाजपा के विरोध में एक एकजुट और विश्वसनीय विकल्प है, जो देश की जनता की आवाज को सुनेगा, और उनकी समस्याओं का समाधान करेगा। इस गठबंधन ने भाजपा को देश की असली तस्वीर से दूर, झूठ, भ्रष्टाचार, तानाशाही, धर्मांधता, अर्थव्यवस्था की बर्बादी, किसानों की मौत, युवाओं की बेरोजगारी, महिलाओं की सुरक्षा, अल्पसंख्यकों के अधिकार, राज्यों की आत्मनिर्भरता और देश की आंतरिक और बाहरी सुरक्षा के मुद्दों से भटकाने का आरोप लगाया है।
वहीं, दूसरी तरफ भाजपा का कहना है कि वह देश की एकता, अखंडता, समृद्धि, शांति और विकास के लिए काम कर रही है, और इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नेतृत्व अनिवार्य है। भाजपा ने अपने पिछले दो कार्यकालों में जो भी काम किए हैं, उनके ही नाम पर अपनी जीत का दावा किया है, और उनके आगे के लक्ष्यों का भी खुलासा किया है। भाजपा ने अपनी नीतियों और योजनाओं के जरिए देश के हर वर्ग, क्षेत्र और व्यक्ति का सम्मान, सम्मान और समर्थन करने का संकल्प लिया है।
हाल ही में भाजपा के पक्ष में बॉलीवुड अभिनेता नाना पाटेकर ने एक बयान दिया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि भाजपा 375 से अधिक सीटें जीतकर लौटेगी। उन्होंने कहा कि भाजपा के अलावा देश में कोई विकल्प नहीं है और उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हुए काम को सराहा है।
गौरतलब है की नाना पाटेकर का यह बयान उनके पुराने बयानों के बिलकुल विपरीत है,जो उन्होंने पिछले साल एक इंटरव्यू में कहा था कि भाजपा के नेताओं को अपने वादों को पूरा करने के लिए जनता के सामने जवाबदेह होना चाहिए। उन्होंने तब कहा था कि भाजपा ने देश को बांटने की कोशिश की है, और उन्होंने अपने वोट बैंक के लिए धर्म, जाति और भाषा के आधार पर राजनीति की है।
इसके अलावा, भाजपा के खिलाफ एक मजबूत विपक्षी गठबंधन की स्थापना के लिए जाने जाते राजनीतिक सलाहकार प्रशांत किशोर ने भी अपना रुख बदला है। उन्होंने हाल ही में कहा है कि भाजपा को 2024 के चुनावों में फायदा होगा, क्योंकि वह राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनावों में जीत हासिल कर चुकी है।
आगे प्रशांत किशोर ने कहा कि भाजपा को इन राज्यों में जीत से मनोवैज्ञानिक लाभ मिलेगा, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि वह लोकसभा चुनावों में भी जीतेगी। उन्होंने कहा कि भाजपा पहले से ही इंडिया गठबंधन से आगे थी, और वह अभी भी वैसी ही स्थिति में है।
हाल ही में हुए सर्वे में टाइम्स नाउ-ईटीजी ने एनडीए को 323 सीटें और इंडिया गठबंधन को 163 सीटें की भविष्यवाणी की है। इंडिया टीवी-सीएनएक्स ने भाजपा को 315 और विपक्षी गठबंधन को 172 सीटें की भविष्यवाणी की है।
अंत में हम सिर्फ यही कह सकते है की 2024 के लोकसभा चुनाव में देश की जनता को एक बहुत ही मुश्किल फैसला करना होगा, कि वह किस गठबंधन को अपना भरोसा दे। एक तरफ भाजपा ने अपने विकास और सुरक्षा के नारे से अपने कार्यकाल का हिसाब देने का दावा किया है, दूसरी तरफ इंडिया गठबंधन ने भाजपा की नीतियों और कार्यों को आलोचना करते हुए देश के लिए एक वैकल्पिक दृष्टिकोण पेश किया है।
इस चुनाव में राजनीतिक दलों के अलावा, अन्य महत्वपूर्ण कारक भी होंगे, जैसे कि जनता का मूड, मीडिया का प्रभाव, सामाजिक मीडिया का उपयोग, आर्थिक स्थिति, विश्व राजनीति, आंतरिक और बाहरी चुनौतियां, आदि। इन सबका चुनाव पर क्या प्रभाव पड़ेगा, यह कहना मुश्किल है, लेकिन यह निश्चित है कि यह चुनाव देश के भविष्य को निर्धारित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
2024 सियासी घमासान: BJP and INDIA alliance में कौन है मजबूत?
धन्यवाद ।
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