सोशल एक्टिविस्ट विश्वनाथ चतुर्वेदी पिछले कई वर्षों से APN News चैनल के मालिक और सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट प्रदीप राय का झूठा चेहरा बेनकाब करने के मुहिम जुटे हुए हैं। बकौल चतुर्वेदी आधुनिक दौर के मि. नटवरलाल हैं एडवोकेट प्रदीप राय। विश्वनाथ चतुर्वेदी का दावा है कि प्रदीप राय कभी चीफ जस्टिस का बेटा बनकर राजभवन का अतिथि भी बन चुका है। इतना ही नहीं एडवोकेट प्रदीप राय इजरायल से एक फोन रिकॉर्ड करने वाली मशीन खरीदकर बड़े पैमाने पर फोन टैंपिंग का काम भी कर चुका है। उसने फोन टैपिंग के जरिए इतना धन कमाया कि एक न्यूज चैनल ही खरीद लिया और इस न्यूज चैनल को बतौर गिफ्ट अपनी पत्नी को भेंट कर दिया।
चतुर्वेदी यह भी कहना नहीं भूलते हैं कि एडवोकेट प्रदीप राय पिछले एक दशक से सुप्रीम कोर्ट और सीबाआई की आंखों में धूल झोंकने में कामयाब रहे हैं। इस शख्स ने अपने धनबल के बदौलत सीबीआई की तरफ़ से ही एक फर्जी रिपोर्ट तैयार करवाकर सीबीआई की कोर्ट में ही दाखिल करवा दिया। इस फर्जी रिपोर्ट को आधार बनाकर देश के कुछ चुनिन्दा समाचार चैनलों में झूठी ब्रेकिंग न्यूज प्रसारित करवा दी।
विश्वनाथ चतुर्वेदी के फेसबुक से साभार- “एडवोकेट प्रदीप राय मामले में सीबाआई कोर्ट ने जालसाजी, फोन टैपिंग जैसे अतिरिक्त साक्ष्य को स्वीकार करते हुए सीबाआई कोर्ट को एक महीने के अंदर चार्जशीट दाखिल करने का आदेश दिया है। सीबाआई कोर्ट ने जांच अधिकारी को नोटिस भी दिया है। कोर्ट में सुनवाई की अगली तारीख 4 जुलाई 2023 निर्धारित की गई है। चतुर्वेदी ने लिखा है कि उनके पास 128 पेज के सहायक दस्तावेज मौजूद हैं, जिस किसी को इसकी जरूरत हो उनसे संपर्क कर सकता है”।
bhadas4media.com पर पब्लिश वीडियो में एडिटर यशवंत से बातचीत के दौरान विश्वनाथ चतुर्वेदी कहते सुनाई दे रहे हैं कि एपीएन न्यूज चैनल के मालिक और सीनियर एडवोकेट प्रदीप राय कभी सपा के राष्ट्रीय महासचिव रह चुके अमर सिंह के लिए फोन टैपिंग, फर्जी वीडियो और फर्जी दस्तावेज तैयार करने का काम करते थे। अमर सिंह के द्वारा जो भी जालसाजी के काम अंजाम दिए जाते थे, उन सभी कामों की जिम्मेदारी एडवोकेट प्रदीप राय के पास थी। विश्वनाथ चतुर्वेदी यह बात बड़ी गंभीरता से कहते हैं कि एडवोकेट प्रदीप राय ने एक पत्रकार के जरिए उनकी फोन टैपिंग करवाई और प्रेस कॉन्फ्रेस करके अमर सिंह ने कहा कि चतुर्वेदी एक असभ्य आदमी है जो न्यायाधीशों को गाली देता है। इस घटना को शो के रूप में इंडिया टीवी ने प्रसारित भी किया।
इतना ही नहीं अमर सिंह तथा मुलायम सिंह आदि ने मिलकर उत्तर प्रदेश के विधानसभा में विश्वनाथ चतुर्वेदी के खिलाफ केस दर्ज करवाया। चतुर्वेदी कहते हैं कि उनकी जो फोन टैपिंग की गई थी वह टैम्पर्ड थी, सामने वाले की आवाज को म्यूट कर दिया गया था। चतुर्वेदी के मुताबिक एडवोकेट प्रदीप राय के द्वारा तैयार की गई फर्जी रिपोर्ट के आधार पर ही सीबाआई ने मुकदमा दायर किया था। वीडियो के मुताबिक कोर्ट नं.1 के सामने स्पाई कैमरा लगाकर एडवोकेट विश्वनाथ चतुर्वेदी की टैपिंग भी की गई। ये सभी अनैतिक काम एडवोकेट प्रदीप राय के द्वारा करवाए गए थे। 14 साल बीत चुके हैं लेकिन सीबीआई ने एडवोकेट प्रदीप राय के खिलाफ एक चार्जशीट भी नहीं जारी की। ऐसे में राय को कभी कोर्ट में पेश होने की जरूरत ही नहीं पड़ी।
विश्वनाथ चतुर्वेदी कहते हैं कि बनारस से पढ़कर आया एक लड़का जो कोर्ट में जिरह भी नहीं कर सकता है, उसने काली कमाई के जरिए खरबों रूपए का न्यूज चैनल खड़ा कर लिया। उन्होंने कहा कि उनके पास एडवोकेट प्रदीप राय की काली कमाई का पूरा कच्चा-चिटठा रखा हुआ है।
गौरतलब है कि विश्वनाथ चतुर्वेदी के द्वारा किए गए कानूनी प्रयास के बाद ही यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति मामले की जांच सीबाआई को सौंपी गई थी।
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